लहर लहर लहराए तिरंगा ।
जन गण मन जब गाये जनता ।
अजर अमर कुर्बानी जिनकी ,
गीतों में वो गाथा गाये जनता ।
बलिदानी वीरों की यादों में ,
नयन सुमन सजाये जनता ।
... विवेक दुबे "निश्चल"@...
नील गगन में उठा स्वाभिमान से माथा ।
लिपट तिरंगे में सुना रहा वीरों की गाथा ।
रानी के जोहर की भस्म सहजकर ,
उन बलिदानों की ये याद दिलाता ।
...."निश्चल"@....
डायरी 7
आजादी जब से मिली ,पाये दिन अनमोल ।
जो प्राणों को हुत किये, उनकी जय जय बोल ।।
उनकी जय जय बोल , करो यादों को ताजा ।
गाओ गीतों संग, अमर वीरों की गाथा ।।
फिजां हुई रंगीन , महकती है अब वादी।
पाए दिन अनमोल , मिली जब से आजादी ।
...."निश्चल"@...