नींद हमे न आए तो, नही कोई बात है ।
कल की फिक्र का ,हमे करना इलाज़ है ।
फ़िक्र आज की बूंदों से ,तर जज़्बात है ।
अपनी तो चाँदनी भी , एक स्याह रात है ।
.... विवेक दुबे"निश्चल"@...
यादों के बंधन ....
कच्चे से कुछ पक्के से ।
कुछ झूंठे से कुछ सच्चे से।
स्वप्न सलोनी रातों के ,
यह साथी बस सच्चे से ।
... विवेक दुबे"निश्चल"@....
डायरी 3
कल की फिक्र का ,हमे करना इलाज़ है ।
फ़िक्र आज की बूंदों से ,तर जज़्बात है ।
अपनी तो चाँदनी भी , एक स्याह रात है ।
.... विवेक दुबे"निश्चल"@...
यादों के बंधन ....
कच्चे से कुछ पक्के से ।
कुछ झूंठे से कुछ सच्चे से।
स्वप्न सलोनी रातों के ,
यह साथी बस सच्चे से ।
... विवेक दुबे"निश्चल"@....
डायरी 3
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